भारत में नई तकनीकों के विकास के साथ-साथ नौकरियों के new opportunities भी तेजी से बढ़ रहे हैं। Data science ,आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI), cyber security और क्लाउड कंप्यूटिंग जैसी उभरती हुई तकनीकें इस वृद्धि में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रही हैं। क्वेस आईटी स्टाफिंग के अनुसार, इन क्षेत्रों में 2030 तक 10 लाख से अधिक नौकरियां सृजित होंगी। इससे 2030 तक भारत की अर्थव्यवस्था में अतिरिक्त 150 बिलियन डॉलर का योगदान होने की उम्मीद है। इनमें से तीन मुख्य क्षेत्र हैं साइबर सिक्योरिटी, ब्लॉकचेन और डेटा साइंस।
आइए इन क्षेत्रों के महत्व, आवश्यक योग्यताओं और संभावित करियर पथों को समझने के लिए इन पर नज़र डालें।
(1) Cybersecurity: डिजिटल दुनिया की सुरक्षा-
आजकल हर चीज़ ऑनलाइन हो गई है – बैंकिंग से लेकर सोशल मीडिया तक। इस डिजिटल दुनिया में हमारी जानकारी सुरक्षित रखना बहुत ज़रूरी है। यहीं पर साइबर सुरक्षा की अहमियत सामने आती है।
साइबर सुरक्षा का मतलब है हमारे कंप्यूटर, मोबाइल फोन, और ऑनलाइन अकाउंट्स को हैकर्स और साइबर हमलों से बचाना। ये लोग हमारी निजी जानकारी चुरा सकते हैं, हमारे पैसे निकाल सकते हैं, या हमारे सिस्टम को ही खराब कर सकते हैं।

इसलिए अब साइबर सुरक्षा में करियर बनाएं। तो इसके लिए क्या क्या जरुरी है ?
- सही पढ़ाई: साइबर सिक्योरिटी या इंफॉर्मेशन सिक्योरिटी में डिग्री लेना बहुत फायदेमंद होता है।
- ऑनलाइन कोर्स: कई ऑनलाइन प्लेटफॉर्म जैसे कि साइबरी (Cybrary) और यूडेमी (Udemy) पर साइबर सिक्योरिटी के अच्छे-अच्छे कोर्स उपलब्ध हैं। इन कोर्सों से आप घर बैठे ही साइबर सुरक्षा के बारे में बहुत कुछ सीख सकते हैं।
साइबर सुरक्षा में करियर बनाने से क्या फायदे हैं? - मज़ेदार काम: साइबर सुरक्षा में काम करने वाले लोगों को हमेशा नए-नए चैलेंज मिलते रहते हैं।
- अच्छी नौकरियां: इस क्षेत्र में अच्छी नौकरियां मिलती हैं और अच्छी सैलरी भी मिलती है।
- देश की सेवा: साइबर सुरक्षा से आप देश की सुरक्षा में भी योगदान दे सकते हैं।
भारत में साइबर सुरक्षा के लिए अनुशंसित पाठ्यक्रम
साइबर सुरक्षा का क्षेत्र तेजी से बढ़ रहा है और भारत में भी इसकी मांग बहुत अधिक है। यदि आप इस क्षेत्र में करियर बनाना चाहते हैं तो आपके लिए कई बेहतरीन विकल्प उपलब्ध हैं। आइए जानते हैं कि भारत में साइबर सुरक्षा के लिए कौन-कौन से पाठ्यक्रम आप कर सकते हैं:
(1) बेसिक साइबर सुरक्षा पाठ्यक्रम :-
यदि आप साइबर सुरक्षा के क्षेत्र में नए हैं तो बेसिक पाठ्यक्रम आपके लिए सबसे उपयुक्त होंगे। ये पाठ्यक्रम आपको साइबर सुरक्षा की बुनियादी अवधारणाओं से परिचित कराएंगे।
- कॉर्स के विषय: कंप्यूटर नेटवर्क, ऑपरेटिंग सिस्टम, डेटाबेस सुरक्षा, क्रिप्टोग्राफी, और साइबर हमले।
- कहां से करें: Udemy, Coursera, edX जैसे ऑनलाइन प्लेटफॉर्म पर कई अच्छे बेसिक साइबर सुरक्षा कोर्स उपलब्ध हैं।
- लाभ: ये कोर्स आपको साइबर सुरक्षा के क्षेत्र में करियर बनाने के लिए तैयार करते हैं।
(2) एडवांस साइबर सुरक्षा पाठ्यक्रम-
यदि आप बेसिक साइबर सुरक्षा के बारे में जानते हैं और इस क्षेत्र में विशेषज्ञ बनना चाहते हैं तो एडवांस पाठ्यक्रम आपके लिए हैं।
- कॉर्स के विषय: पेनट्रेशन टेस्टिंग, वुलनरेबिलिटी असेसमेंट, डिजिटल फोरेंसिक्स, इन्सिडेंट रिस्पांस।
- कहां से करें: कई विश्वविद्यालय और निजी संस्थान एडवांस साइबर सुरक्षा पाठ्यक्रम आयोजित करते हैं। आप ऑनलाइन प्लेटफॉर्म पर भी एडवांस कोर्स ढूंढ सकते हैं।
- लाभ: ये कोर्स आपको साइबर सुरक्षा के उन्नत क्षेत्रों में काम करने के लिए तैयार करते हैं।
(3) सर्टिफिकेशन कोर्स:-
साइबर सुरक्षा में कई तरह के सर्टिफिकेशन उपलब्ध हैं। ये सर्टिफिकेशन आपके रिज्यूमे को मजबूत बनाने और नौकरी पाने में आपकी मदद कर सकते हैं।
- लोकप्रिय सर्टिफिकेशन: CEH (Certified Ethical Hacker), CISSP (Certified Information Systems Security Professional), CompTIA Security+।
- कहां से करें: इन सर्टिफिकेशन को प्राप्त करने के लिए आपको अधिकृत प्रशिक्षण केंद्रों में जाना होगा।
- लाभ: ये सर्टिफिकेशन आपको साइबर सुरक्षा के क्षेत्र में एक पेशेवर के रूप में पहचान दिलाते हैं।
(4) डिग्री और डिप्लोमा कोर्स :-
यदि आप साइबर सुरक्षा में गहराई से अध्ययन करना चाहते हैं तो आप डिग्री या डिप्लोमा कोर्स कर सकते हैं।
- कहां से करें: कई विश्वविद्यालय और इंजीनियरिंग कॉलेज साइबर सुरक्षा में डिग्री और डिप्लोमा कोर्स ऑफर करते हैं।
- लाभ: डिग्री या डिप्लोमा आपको साइबर सुरक्षा के सभी पहलुओं के बारे में गहन ज्ञान प्रदान करेगा।
भारत में साइबर सुरक्षा के लिए कुछ प्रमुख संस्थान:
- भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (IITs)राष्ट्रीय प्रौद्योगिकी संस्थान (NITs)
- भारतीय कंप्यूटर इमरजेंसी रिस्पांस टीम (CERT-In)
- कई निजी विश्वविद्यालय और प्रशिक्षण संस्थान
(2) Blockchain Technology: New Opportunities in India
ब्लॉकचेन टेक्नोलॉजी एक क्रांतिकारी तकनीक है जो कई क्षेत्रों जैसे वित्तीय सेवाएं, बैंकिंग और डेटा सुरक्षा में बदलाव ला रही है। यह तकनीक डेटा स्टोरेज और लेनदेन को विकेंद्रीकृत करके पारदर्शिता, सुरक्षा और दक्षता सुनिश्चित करती है। जो आने वाले समय में भारत में रोजगार के नए अवसर (new opportunities of employment) प्रदान करने वाला है।

Blockchain कैसे काम करता है?
- विकेंद्रीकृत नेटवर्क: ब्लॉकचेन एक विकेंद्रीकृत नेटवर्क है, जिसका मतलब है कि कोई एकल प्राधिकरण इसका नियंत्रण नहीं करता है।
- ब्लॉक्स की श्रृंखला: इसमें डेटा को ब्लॉक्स में संग्रहित किया जाता है, जो एक श्रृंखला में जुड़े होते हैं।
- अपरिवर्तनीयता: एक बार ब्लॉक में डेटा दर्ज हो जाने के बाद, उसे बदला नहीं जा सकता है, जिससे डेटा अत्यंत सुरक्षित हो जाता है।
भारत में ब्लॉकचेन के लाभ:
- वित्तीय समावेशन: ब्लॉकचेन तकनीक से वित्तीय सेवाएं अधिक पहुंच योग्य बन सकती हैं, जिससे बैंकिंग सुविधाओं से वंचित लोगों को भी वित्तीय सेवाओं का लाभ मिल सकता है।
- सप्लाई चेन प्रबंधन: ब्लॉकचेन का उपयोग करके आपूर्ति श्रृंखलाओं को अधिक पारदर्शी और कुशल बनाया जा सकता है।
- डिजिटल पहचान: ब्लॉकचेन का उपयोग करके सुरक्षित और विश्वसनीय डिजिटल पहचान प्रणाली विकसित की जा सकती है।
- सरकारी सेवाएं: ब्लॉकचेन का उपयोग करके सरकारी सेवाओं को अधिक कुशल और पारदर्शी बनाया जा सकता है।
ब्लॉकचेन में करियर कैसे बनाएं?
- शिक्षा: कंप्यूटर साइंस में डिग्री प्राप्त करें और ब्लॉकचेन टेक्नोलॉजी में विशेषज्ञता हासिल करें।
- ऑनलाइन कोर्स: यूसी बर्कले द्वारा ब्लॉकचेन टेक्नोलॉजी (edX पर उपलब्ध) जैसे ऑनलाइन कोर्स करें।
- प्रोजेक्ट्स: ब्लॉकचेन परियोजनाओं पर काम करके अपने कौशल को बढ़ाएं।
- इंटर्नशिप: ब्लॉकचेन कंपनियों में इंटर्नशिप करके व्यावहारिक अनुभव प्राप्त करें।
ब्लॉकचेन में करियर के अवसर:
- ब्लॉकचेन डेवलपर: ब्लॉकचेन एप्लिकेशन और स्मार्ट कॉन्ट्रैक्ट्स विकसित करना।
- ब्लॉकचेन एनालिस्ट: ब्लॉकचेन डेटा का विश्लेषण करना और व्यावसायिक अंतर्दृष्टि प्रदान करना।
- ब्लॉकचेन कंसल्टेंट: ब्लॉकचेन समाधानों के कार्यान्वयन में संगठनों की सहायता करना।
(3) Data Science: Driving Insights and Decision Making
डेटा से समझदारी निकालना और बेहतर फैसले लेना आवश्यक हो गया है क्योकि आजकल हर जगह डेटा है! सोशल मीडिया, बैंक, डॉक्टरों के पास, सबके पास बहुत सारा डेटा है। लेकिन इस डेटा से क्या करें? यहीं पर डेटा साइंस की भूमिका आती है।

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What is data science?
डेटा साइंस का मतलब है कि बड़े-बड़े डेटा को समझना, उससे जानकारी निकालना और उस जानकारी का इस्तेमाल करके अच्छे फैसले लेना। मान लीजिए, एक डॉक्टर के पास बहुत सारे मरीज़ों का डेटा है। डेटा साइंस की मदद से वो समझ सकता है कि कौन सी बीमारी ज्यादा फैल रही है, किस इलाके में कौन सी दिक्कतें हैं, और कैसे बेहतर इलाज किया जा सकता है।
डेटा साइंस में करियर कैसे बनाएं?
- पढ़ाई: डेटा साइंस, स्टैटिस्टिक्स या किसी संबंधित विषय में डिग्री ले सकते हैं।
- ऑनलाइन कोर्स: कोर्सेरा (Coursera) पर जॉन्स हॉपकिन्स यूनिवर्सिटी का “डेटा साइंस स्पेशलाइजेशन” और edX पर हार्वर्ड यूनिवर्सिटी का “डेटा साइंस एंड मशीन लर्निंग” जैसे कोर्स बहुत मददगार साबित हो सकते हैं। इन कोर्सों से आप डेटा का विश्लेषण कैसे करते हैं, भविष्य की भविष्यवाणी कैसे करते हैं, और कैसे नए-नए तरीके खोजते हैं, ये सब सीखेंगे।
डेटा साइंस में करियर के क्या फायदे हैं?
- बढ़ती हुई मांग: आजकल हर कंपनी को डेटा साइंस की जरूरत है। इसलिए डेटा साइंटिस्ट्स की बहुत मांग है।
- अच्छी सैलरी: डेटा साइंस में अच्छी नौकरियां मिलती हैं और अच्छी सैलरी भी मिलती है।
- लगातार सीखना: डेटा साइंस का क्षेत्र बहुत तेजी से बदल रहा है। इसलिए आपको हमेशा सीखते रहना होगा, जो कि बहुत ही रोमांचक है।
दोस्तों,भारत में तकनीक का भविष्य बहुत उज्ज्वल है और इन उभरते हुए क्षेत्रों में विकास और नवाचार के असीम अवसर मौजूद हैं। चाहे आप अपना करियर बनाने की योजना बना रहे हों या किसी अन्य क्षेत्र में जाने की सोच रहे हों, साइबर सुरक्षा, ब्लॉकचेन या डेटा साइंस पर ध्यान केंद्रित करना आपके लिए एक महत्वपूर्ण बदलाव साबित हो सकता है।
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